घुमारवीं अगेंस्ट चिट्टा" अभियान के अंतर्गत "घर - गाँव जागरूकता"
घुमारवीं
"घुमारवीं अगेंस्ट चिट्टा" अभियान के अंतर्गत "घर - गाँव जागरूकता" की श्रृंखला को आगे बढ़ाते हुए घुमारवीं की अग्रणी सामाजिक संस्था संस्कार सोसाइटी ने दधोल पंचायत के गाँव दधोल खुर्द में एक बैठक का आयोजन किया और स्थानीय लोगों के साथ नशे के खिलाफ जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया। इस अवसर पर संस्था के संस्थापक महेंद्र धर्माणी ने चिट्टा जैसी गंभीर समस्या पर चिंता व्यक्त करते हुए लोगों से नशे के खिलाफ एकजुट होने की अपील की।
उन्होंने ज़ोर देकर कहा कि नशा बेचने वालों की जानकारी तत्काल पुलिस को दी जानी चाहिए, लेकिन उन्होंने इस बात पर भी चिंता जताई कि जब आम लोग चिट्टा बेचने वालों को पहचान सकते हैं, तो फिर पुलिस को यह जानकारी क्यों नहीं होती? उन्होंने पुलिस की भूमिका को संदिग्ध बताया और कहा कि कुछ पुलिसकर्मी नशे के सौदागरों से मिलीभगत कर समाज को गुमराह कर रहे हैं।
धर्माणी ने हाल ही में हुई एक घटना का हवाला देते हुए कहा कि जब एक जागरूक नागरिक ने नशे के खिलाफ मुहिम में सहयोग किया तो कुछ भ्रष्ट पुलिस कर्मचारियों ने उसकी पहचान उजागर कर दी जो कि अत्यंत शर्मनाक व निंदनीय है। उन्होंने पुलिस विभाग से अपेक्षा की कि ऐसे मामलों में गंभीरता से कार्रवाई की जाए और नशा तस्करों के खिलाफ कठोर कदम उठाए जाएँ।
कार्यक्रम में धर्माणी ने गाँव के बुजुर्गों से विशेष आग्रह किया कि वे इस अभियान में सक्रिय भूमिका निभाएँ और अपनी युवा पीढ़ी को नशे की गिरफ्त से बचाने में अपना योगदान दें।धर्माणी ने कहा कि यदि किसी घर का बच्चा नशे की गिरफ्त में आ जाए तो उसे डराने या बहिष्कृत करने की बजाय उसकी काउंसलिंग कर, सही दिशा में लाना आवश्यक है।
संस्था अब तक घुमारवीं क्षेत्र के 8000 से अधिक लोगों से प्रत्यक्ष संपर्क कर उन्हें जागरूक करने में सफल रही है।महेंद्र धर्माणी ने सभी से इस अभियान से जुड़ने की अपील करते हुए कहा कि “यदि आज हम नहीं जागे तो कल बहुत देर हो जाएगी।” इस मौके पर दधोल ग्राम समिति के अध्यक्ष त्रिलोक शर्मा, राजेश कुमार, पवन गौतम ,सुरेश ,वासुदेव शर्मा, पंकज शर्मा ,बिशन दास ,नरोत्तम दत्त ,विद्यासागर तथा कुलदीप सहित अन्य गांव वाले मौजूद रहे