भराड़ी - समय रहते अगर लोगों की जिंदगीयों के लिए खतरा बनते जा रहे पेड़ों को नहीं काटा गया तो करेंगे आमरण अनशन - क़हलूर न्यूज़
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भराड़ी - समय रहते अगर लोगों की जिंदगीयों के लिए खतरा बनते जा रहे पेड़ों को नहीं काटा गया तो करेंगे आमरण अनशन - क़हलूर न्यूज़

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समय रहते अगर लोगों की जिंदगीयों के लिए खतरा बनते जा रहे पेड़ों को नहीं काटा गया तो करेंगे आमरण अनशन 

12 जुलाई , भराड़ी  (रजनीश धीमान )

उप तहसील भराड़ी के अंतर्गत आने वाले गांव मरहाना के निवासी व पूर्व पंचायत प्रधान पृथी चंद ने आज उप तहसील भराड़ी में नायब तहसीलदार के माध्यम से उप मंडलीय अधिकारी घुमारवीं को एक ज्ञापन सौंपा जिसमें उन्होंने माध्यमिक पाठशाला मरहाना के खेल मैदान में वन विभाग के भारी-भरकम सफेदों के लगभग 60 वर्ष पुराने पेड़ों को काटने की गुहार लगाई तथा प्रशासन को 14 तारीख तक का समय देते हुए कहा कि अगर आने वाली इस तारीख तक इन पेड़ों को नहीं काटा गया तो 15 तारीख से वह आमरण अनशन पर बैठ जाएंगे जिसकी सारी जिम्मेवारी प्रसासन की होगी।

 ज्ञापन में आरोप लगाते हुए पृथी चंद ने बताया कि वह इन पेड़ों को कटवाने के लिए पिछले 6-7 वर्षों से विभाग व प्रशासन को लिखित तौर पर निवेदन कर चुके हैं परंतु विभाग व प्रशासन ने हर बार उनकी इस विनती को अनदेखा किया है ।

जबकि 12 जून को आये तूफान के कारण एक भारी-भरकम पेड़ एक रिहायशी मकान पर गिर गया था जिसकी वजह से भारी क्षति हुई थी। इस घटना के बाद खाद्य आपूर्ति मंत्री राजेंद्र गर्ग व उपमंडल अधिकारी घुमारवीं ने मौके पर आकर इस नुकसान का जायजा लिया था। तथा गांव के लोगों को मौके पर आश्वासन दिया था कि 15 जून को इन्हें वृक्षों को कटवाने का काम शुरू कर दिया जाएगा। जिसके लिए प्रशासन ने ऐसे छह पेड़ों को चिन्हित किया था जिनसे लोगों को बहुत ज्यादा खतरा था। 

परंतु 1 माह बीत जाने के बाद भी आज तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है। उनका कहना था कि शायद सरकार व प्रशासन एक और बड़े हादसे की इच्छा रखता है क्योंकि स्थानीय निवासी दिन-रात मौत के साए में जी रहे हैं। जब भी आंधी तूफान आता है तो इन पेड़ों के गिरने से मकानों के अंदर लोगों के दफन होने का खतरा बना रहता है। जिसके कारण आज उन्होंने स्थानीय निवासियों के साथ मिलकर यह ज्ञापन प्रेषित किया ।

जो प्रशासन का रवैया है उसे देखकर यही लगता है कि प्रशासन किसी बड़े हादसे का इंतजार कर रहा है जबकि स्थानीय लोग दिन-रात डर के साए में जी रहे हैं और अगर जल्द ही प्रशासन ने इस मामले में कार्रवाई नहीं की तो ग्रामीणों के साथ मिलकर प्रशासन के खिलाफ आंदोलन का रास्ता अपनाया जाएगा जिसकी सारी जिम्मेदारी प्रशासन की होगी -------।राहुल ठाकुर (पंचायत समिति सदस्य भपराल सलाओं)
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